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CAPF नर्सिंग स्टाफ का ‘ग्रेड पे 4600’ केस की सुप्रीम कोर्ट में आज अहम सुनवाई,क्या दूर होगी वेतन विसंगति?

नई दिल्ली: केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (CAPF) के हजारों नर्सिंग स्टाफ का भविष्य आज, 6 नवंबर 2025 को सुप्रीम कोर्ट में होने वाली एक महत्वपूर्ण सुनवाई पर टिका है। यह मामला मुख्य रूप से ग्रेड पे 4600 और कैडर विसंगतियों से संबंधित है, जिसके कारण CAPF के स्वास्थ्यकर्मी वर्षों से अपने नागरिक समकक्षों (Civil Counterparts) की तुलना में कम वेतन पर काम करने को मजबूर हैं।

यह मामला सिविल अपील संख्या 2617/2017 (यूनियन ऑफ इंडिया और अन्य बनाम किरण नोनीवाल और अन्य) के तहत माननीय न्यायमूर्ति संजय करोल और न्यायमूर्ति मनमोहन की खंडपीठ के समक्ष सूचीबद्ध है

💰 ग्रेड पे 4600: वेतन विसंगति का केंद्र बिंदु

CAPF नर्सिंग स्टाफ की मुख्य लड़ाई ग्रेड पे 4600 को लेकर है। दस्तावेज़ों के अनुसार, स्टाफ नर्स (एसआई) का वर्तमान प्रवेश ग्रेड पे 4200 है, जबकि उनकी अगली पदोन्नति का पद, सिस्टर इंचार्ज/इंस्पेक्टर (एसआई), ग्रेड पे 4600 में है।

कर्मचारियों का तर्क है कि CAPF में उन्हें दूर-दराज और जोखिम भरे क्षेत्रों में तैनाती दी जाती है, लेकिन उनकी वेतन संरचना AIIMS, रेलवे, रक्षा और ESI जैसे नागरिक संगठनों की तुलना में बेहद निराशाजनक है। इन संगठनों में समान योग्यता और कार्यभार वाले स्टाफ नर्सों को या तो सीधे 4600 ग्रेड पे दिया जाता है, या उन्हें तेजी से उच्च ग्रेड पे तक पहुँचने के अवसर मिलते हैं।

CAPF नर्सिंग स्टाफ की मुख्य माँगें:

  • ग्रेड पे में समानता: नागरिक नर्सिंग सेवाओं के समान ग्रेड पे प्रदान किया जाए, जो कई मामलों में 4600 ग्रेड पे से शुरू होता है।
  • अपर्याप्त पदोन्नति: वर्तमान दोषपूर्ण कैडर संरचना में स्टाफ नर्सों को करियर में केवल एक या दो पदोन्नति मिलती है, जिससे वे पूरे सेवाकाल में एक ही वेतनमान पर अटके रहते हैं।
  • सीनियर पदों पर प्रमोशन का अभाव: डिप्टी नर्सिंग सुपरिटेंडेंट (ग्रेड पे 7600) जैसे उच्च पदों पर भी पदोन्नति के सीमित अवसर हैं।

🗓️ कोर्ट में आज की स्थिति

पिछली सुनवाई 24 सितंबर 2025 को हुई थी, जहाँ अपीलकर्ता (यूनियन ऑफ इंडिया) की ओर से कोई प्रतिनिधित्व मौजूद नहीं था । कोर्ट ने इस पर संज्ञान लेते हुए सेंट्रल एजेंसी के माध्यम से 06.11.2025 के लिए नोटिस जारी किया था

आज की सुनवाई इस मामले में निर्णायक साबित हो सकती है। यह देखना होगा कि केंद्र सरकार कोर्ट के समक्ष ग्रेड पे 4600 और कैडर विसंगतियों को दूर करने के लिए क्या ठोस योजना प्रस्तुत करती है। CAPF के लाखों कर्मियों के लिए चिकित्सा सहायता सुनिश्चित करने वाले इन स्वास्थ्यकर्मियों को अब सुप्रीम कोर्ट से न्याय मिलने की उम्मीद है।

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